रीवा
रीवा जिला के मुख्यालय से 30 किलोमीटर दूर बसामन मामा गौवंश वन्य विहार की स्थापना 13 हेक्टेयर क्षेत्र में की गई है, जिसका निराश्रित गायों के लिए आश्रय स्थल के रूप में उपयोग होगा। इसके माध्यम से निराश्रित गायों को सुरक्षित आवास प्रदान किया जा रहा है।बता दें कि गौवंश वन्य विहार में शुरूआत में 500 निराश्रित गायों को आश्रय दिया गया, जिसमें अब हजारों गायों को आश्रय मिला है। इससे गौवंश के संरक्षण को बढ़ावा मिलेगा।
5 अक्टूबर को जनसंपर्क मंत्री राजेन्द्र शुक्ल के द्वारा इसका लोकार्पण किया जाएगा। गौवंश वन्य विहार में निराश्रित गायों के लिए चारा और भूसा का प्रबंधन किया गया है, जिससे उनका खेतों में प्रवेश और फसलों को क्षति पहुंचाने की आशंका कम हो जाएगी। साथ ही इस पहल से आसपास के ग्रामीण क्षेत्रों में अवारा पशुओं की समस्याओं का समाधान हो जाएगा। इसकी स्थापना से यातायात को प्रभावित होने से बचाया जा सकेगा। वहीं, स्थानीय समुदायों को आर्थिक सहायता भी मिलेगी क्योंकि इससे लोगों को रोजगार के अवसर मिल रहे हैं। इसके अलावा, विभिन्न कार्यों के लिए 1049.29 लाख रुपए की लागत से निर्माण कार्य किया गया है।
किया गया ये निर्माण कार्य
- इसमें गौवंशों के लिए आवास की व्यवस्था की गई है।
- गौवंशों के खाद्य स्रोत के रूप में भूसा की रखवाली की जाती है।
- पशुओं को पीने के लिए हौज बनाया गया है।
- पीसीसी रोड का निर्माण किया गया है, जिससे पुरानी सड़कों को बेहतर बनाया जा सके।
- यहां पर वर्मी कम्पोस्ट शेड तैयार किया गया है।
- गोबर गैस यूनिट का निर्माण किया गया है ताकि ऊर्जा मिल सके।
- रपटा निर्माण करवाया गया है, जिससे जैव विविधता को संरक्षित किया जा सके।
- यज्ञशाला का निर्माण धार्मिक और सामाजिक गतिविधियों के लिए गया है।
- वहीं, रेस्टहाउस का भी निर्माण किया गया है ताकि आगंतुकों को विश्राम स्थल मिले।
- पशुओं के स्वास्थ्य सेवाओं के लिए एक पशु चिकित्सालय का निर्माण किया गया है।
- सुरक्षित और प्रबंधित प्रवेश के लिए एक गेट भी बनाया गया है।
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