नई दिल्ली,
भारत-चीन सीमा मामलों पर परामर्श और समन्वय के लिए कार्य तंत्र की 29वीं बैठक हुई और दोनों पक्षों ने इसमें वास्तविक नियंत्रण रेखा (एलएएसी) से पूरी तरह से सैनिकों को हटाने और शेष मुद्दों को हल करने पर विचार-विमर्श किया।
विदेश मंत्रालय ने एक बयान में यह जानकारी दी।
बयान में कहा गया है कि यह महत्वपूर्ण बैठक 27 मार्च को बीजिंग में हुई।
मंत्रालय ने कहा कि दोनों पक्षों ने इस बारे में गहन विचार-विमर्श किया कि भारत-चीन सीमावर्ती क्षेत्रों के पश्चिमी सेक्टर में एलएसी से पूरी तरह से सैनिकों की वापसी कैसे हो और शेष मुद्दों को हल किया जाए।
विदेश मंत्रालय के संयुक्त सचिव (पूर्वी एशिया) ने भारतीय प्रतिनिधिमंडल का नेतृत्व किया। बयान में कहा गया है कि चीनी प्रतिनिधिमंडल का नेतृत्व चीनी विदेश मंत्रालय के सीमा और महासागरीय विभाग के महानिदेशक ने किया।
इसमें कहा गया है, "अंतरिम तौर पर, दोनों पक्ष राजनयिक और सैन्य माध्यमों से नियमित संपर्क में रहने और मौजूदा द्विपक्षीय समझौतों तथा प्रोटोकॉल के अनुसार सीमावर्ती क्षेत्रों में शांति बनाए रखने की आवश्यकता पर सहमत हुए।"
भारत-चीन सीमा मामलों पर परामर्श और समन्वय के लिए कार्य तंत्र की 28वीं बैठक पिछले साल 30 नवंबर को हुई थी।
More Stories
चुनाव आयोग ने चुनाव संबंधी नियमों में कुछ बदलाव किए, मोदी सरकार पर भड़क उठी कांग्रेस
भारत कभी भी दूसरों को अपने फैसलों पर ‘वीटो’ लगाने की अनुमति नहीं देगा: विदेश मंत्री एस जयशंकर
भाजपा ने पश्चिम बंगाल के अस्पतालों से की मांग, बांग्लादेशियों का न करो इलाज, देश पहले आता है