भोपाल
लोकसभा चुनाव की आचार संहिता में मध्य प्रदेश सरकार पांच हजार करोड़ रुपये का नया कर्ज लेगी। राज्य सरकार रिजर्व बैंक के मुंबई कार्यालय के माध्यम से 26 मार्च को तीन हिस्सों में कुल पांच हजार करोड़ रुपयों का कर्ज बाजार से लेगी। पहला कर्ज 20 साल के लिए दो हजार करोड़ रुपये का होगा। इसी तरह दो हजार करोड़ का दूसरा कर्ज 21 साल के लिए और एक हजार करोड़ रुपये का तीसरा कर्ज लिया जाएगा जो 22 साल में चुकाया जाएगा। तीनों ही कर्ज पर साल में दो बार ब्याज का भुगतान किया जाएगा।
राज्य सरकार तीन माह में साढ़े 15 हजार 500 हजार करोड़ रुपये कर्ज ले चुकी है। वर्तमान वित्त वर्ष में मध्य प्रदेश सरकार अब तक कुल 37 हजार 500 करोड़ रुपये का कर्ज ले चुकी है। अब पांच हजार करोड़ रुपये का नया कर्ज मिलाकर कुल कर्ज 42 हजार 500 करोड़ रुपये हो जाएगा। वहीं वर्ष 2024 में 23 जनवरी को ढाई हजार करोड़ रुपये, छह फरवरी को तीन हजार करोड़ रुपये और बीस फरवरी को पांच हजार करोड़ रुपये और 27 फरवरी को पांच हजार करोड़ रुपये का कर्ज लिया जा चुका है।
मप्र में 3 लाख करोड़ रुपये से अधिक कर्ज
प्रदेश के ऊपर मार्च 2023 की स्थिति में तीन लाख 31 हजार करोड़ रुपये से अधिक का ऋण है। वहीं अब तक के कुल कर्ज को मिलाकर मध्य प्रदेश सरकार पर कर्ज का कुल भार तीन लाख 70 हजार करोड़ रुपये से अधिक हो गया है। बता दें कि विधानसभा चुनाव से पहले भी सरकार ने लगातार कर्ज लिया था।
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